ओयो रूम्स जोकि एक भारतीय स्टार्टअप है एवं शुरू होने के कुछ सालों में ही अपने आप को भारतीय बाज़ार में ही नहीं बल्कि अंतर्राष्ट्रीय बाज़ार में भी स्थापित कर चूका है वह अब पश्चिम देशों में अपनी धाक जमाने की योजना कर रहा है।
ओयो रूम्स के बारे में जानकारी :
ओयो रूम्स जो यात्रियों को विभिन्न शेहेरों में बिना किसी अफरा तफरी के अच्छे से अच्छा आवास दिलाने का वादा करता है वह 2013 में ही शुरू किया गया था। शुरू होने के कुछ सालों में यह बहुत तेजी से ऊपर बढ़ा है। कुछ समय पहले अंतर्राष्ट्रीय पूंजीपतियों द्वारा इसमें निवेश किया गया था जिसके बाद यह कुल 5 अरब डॉलर का बन गया था।
ऐप आधारित कंपनी कमरों की संख्या के मामले में बहुत तेजी से भारत की सबसे बड़ी होटल फर्म बन गई है और चीन में सबसे बड़ी में से एक है क्योंकि यह विदेशों में आक्रामक विस्तार करती हैभारत के बाज़ार पर कब्ज़ा जमाने के बाद यह पूंजीपतियों की सहायता से इसने चीनी बाज़ार में प्रवेश किया। चीन में भी इसने बड़े खिलाडियों से अपना लोहा मनवाया एवं चीन के सबसे बड़े होटल्स में शुमार हो गया।
इसे आमतोर पर ओयो कहा जाता है एवं इस साल सितम्बर में जापान के सॉफ्टबैंक एवं अमेरिकी सिकोया कैपिटल से पूँजी प्राप्त करने के बाद इसने ब्रिटिश बाज़ार में प्रवेश किया है।
संस्थापक रितेश अगरवाल की आगे की योजना :
रितेश अगरवाल से विदेशों में अपने कारोबार की रफ़्तार के बारे में पुचा गया तो उन्होंने बताय की हमें वैश्विक स्तर पर एक बहुत तेज़ वृद्धि देखने को मिल रही है एवं लन्दन में हम आक्रामकता से विस्तार कर रहे हैं। इसके बाद हम यूरोपीय देशों में प्रवेश करने की सोच रहे हैं।
छोटे होटलों का सशक्तिकर्ण है लक्ष्य :
रितेश अगरवाल ने छोटे होटल कारोबारियों के प्रति अपनी चिंता जताते हुए कहा की छोटे परिसंपत्ति मालिकों को जीवित रहने में मुश्किल हो रही है जबकि बड़ी होटल कंपनियां हर जगह अपना कब्ज़ा जमा रही हैं। इसलिए हम अपनी इस एप आधारित ओयो से यात्रियों एवं छोटे कारोबारियों को मिला रहे हैं एवं इन कारोबारियों की बड़े होटलों को हारने में मदद कर रहे हैं।