देश भर के तमाम एयरपोर्ट की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ़) के कंधो पर है, लेकिन इस सेवा एवज़ में एयरपोर्टों द्वारा सीआईएसएफ़ को उसका भुगतान नहीं किया जा रहा है।
सीआईएसएफ़ के अनुसार देश के विभिन्न एयरपोर्ट पर सुरक्षा मुहैया कराने के एवज़ में मिलने वाले कुल भुगतान में अभी 970 करोड़ रुपये का भुगतान विभिन्न एयरपोर्ट पर बाकी है।
सीआईएसएफ़ के डायरेक्टर जनरल राजेश रंजन ने सोमवार को मीडिया को बताया कि विभिन्न एयरपोर्ट को सुरक्षा मुहैया कराने के के एवज़ में मिलने वाले भुगतान का बड़ा हिस्सा अभी एयरपोर्टों पर बाकी है।
उन्होने बताया कि प्राइवेट सेक्टर या सरकार के साझा सहयोग से संचालित होने वाले एयरपोर्ट पर 880 करोड़ व भारतीय एयरपोर्ट अथॉरिटी (एएआई) द्वारा संचालित एयरपोर्ट पर करीब 90 करोड़ रुपये का शुल्क बकाया है।
डीजी राजेश रंजन के अनुसार 880 करोड़ रुपये के कुल भुगतान में से सिर्फ दिल्ली के आईजीआई एयरपोर्ट का ही 788 करोड़ रुपये का भुगतान बकाया है। डीजी रंजन के अनुसार उन्होने उड्डयन मंत्रालय और गृह मंत्रालय को इस बात से पूरी तरह अवगत करवा दिया है।
डीजी राजेश रंजन के अनुसार इस बकाया के कारण इन एयरपोर्टों से सीआईएसएफ़ को हटाने के लिए संबन्धित मंत्रालय ही कोई निर्णय ले सकते हैं, क्योंकि वे इसके लिए अधिकृत हैं।
इसी के साथ आपको बताते चलें कि भारत में लगभग सभी एयरपोर्ट की सुरक्षा का पूरा जिम्मा सीआईएसएफ़ के ही पास है और सीआईएसएफ़ पिछले कई सालों से अपनी इस ज़िम्मेदारी को बखूबी निभाती आ रही है।