लोकसभा चुनाव के लिए टिकट न मिलने से नाराज, भाजपा के उत्तरी पश्चिमी दिल्ली से सांसद उदित राज ने मंगलवार को कहा कि पार्टी ने उन्हें शीर्ष आदालत के उस फैसले के खिलाफ विरोध करने के लिए छोड़ने का फैसला किया होगा, जिसमें दलित कानून के कड़े प्रावधानों को रद्द कर दिया था।
भाजपा ने उत्तरी पश्चिमी लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र उदित राज को पंजाबी सूफी गायक हंस राज हंस के साथ बदल दिया हैं।
उदित राज, जो पहले ही कह चुके हैं कि अगर पार्टी उन्हें अपना उम्मीदवार घोषित नही करेगी तो वह निर्दलीय चुनाव लड़ेंगे। उन्होंने कहा कि वह अपने समर्थको से विचार करके आगे की रणनीति तैयार करेंगे।
उन्होंने कहा, कि वह निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव नही लड़ूंगा। वे मुझे पार्टी छोड़ने के लिए मजबूर कर रहे हैं लेकिन मैंने छोड़ने के बारे में फैसला नही लिया हैं। मैं अपने देश भर के समर्थकों से परामर्श करूंगा।
टिकट न दिए जाने की संभावनाओं के बारे में बात करते हुए राज ने कहा, जब 2018 में एससी-एसटी संशोधन पर बंद हुआ था, मैंने विरोध किया था, इसलिए पार्टी नेतृत्व मुझसे नाखुश हैं। जब कोई सरकारी भरती नही हुई थी, क्या मैंने इस मुद्दे को नही उठाया था? मैं दलितों के मुद्दों को उठाता रहूंगा।
2018 में, सुप्रीम कोर्ट ने अत्यचार अधिनियम के तहत लोक सेवकों और निजी क्रमर्चारियों को गिरफ्तारी से बचाने के लिए दिशानिर्देश जारी किए थे। कोर्ट ने निर्देश दिया था कि लोक सेवकों को केवल नियुक्ति प्राधिकारी के लिखित अनुमति के साथ ही गिरफ्तार किया जाएगा।.
इसे अनुसूची जाति और अनुसूची जनजाति के कमजोर पड़ने के रूप में देखा जाने लगा, जिसके कारण देश भर में विरोध प्रदर्शन हुआ।
बाद में सरकार ने शीर्ष आदालत के आदेश को रद्द करने के लिए एक संशोधन लाया।
राज ने दावा किया कि तीन चार महीने पहले ही दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उन्हें कहा था कि उन्हें टिकट नही दिया जाएगा।
भाजपा के आंतरिक सर्वे में मेरा सबसे अच्छा प्रदर्शन रहा हैं। किसी ने मुझे टिकट न देने की बात नही की। अगर मुझे मोदी और शाह में भरोसा हैं, तो उन्हे मुझे बोलना चाहिए था कि मैं तुमको टिकट नही दे रहा हूं। मैंने अभी तक इस्तीफा नही दिया हैं। मोदी में भारोसा दिखाते हुए, हम अपनी पार्टी भाजपा के साथ बनाएंगे।
सोमवार और मंगलवार मध्यरात्रि को उदित राज और हंस के समर्थकों ने पंड़ित पंत मार्ग पर दिल्ली भाजपा कार्यालय के बाहर नारे लगाए।
राज, अपने समर्थकों के साथ, उत्तर पश्चिम दिल्ली सीट के लिए हंस पर पार्टी के द्वारा विचार करने की बात सुनकर वहां पहुचे थे।
पूर्व भारतीय राजस्व सेवा अधिकारी ने अपनी भारतीय न्याय पार्टी को भाजपा में मिला लिया था और 2014 में उत्तर पश्चिम से लोकसभा चुनाव लड़ा था।
राज ने दावा किया कि दिल्ली भाजपा प्रमुख मनोज तिवारी ने उनसे दिल्ली की उत्तर पश्चिम से टिकट देने का आश्वासन दिया था। उन्होंने कहा था कि उन्होंने कहा था कि वह इस संबंध में पार्टी के वरिष्ठ नेता निर्मला सितारमण और अरूण जेटली से संपर्क करेंगे।
भाजपा सांसद ने अक्सर पार्टी के विपरीत विचार रखे हैं खास कर पिछले साल दलित संगठनों के बुलाए जाने, सबरीमाला और भारत बंद के दौरान।
इस महीने की शुरूआत में, राज सहित कई सांसदों पर स्टिंग हुआ था जिसमें पकड़े जाने के बाद वह विवाद का केंद्र बने थे। जिसमे सांसदो ने कथित तौर पर चुनाव लड़ने के लिए काले धन के उपयोग की बात को स्वीकारा था।