सीरिया के राष्ट्रपति बशर अल असद ने मंगलवार को करीबी दोस्त ईरान के साथ हुए आर्थिक समझौते के बाबत बताया था। उन्होंने कहा कि इस आर्थिक युद्ध को पश्चिमी देशों ने उभारा है। इससे एक दिन पूर्व ही ईरान और सीरिया ने कहा कई समझौतों पर हस्ताक्षर किये थे, इसमें लम्बे अंतराल के लिए आर्थिक सहयोग का समझौता भी शामिल था।
बशर अल असद ने कहा कि “यह समझौता ईरानी और सीरियाई अर्थव्यवस्था की बचने में मदद करेगा, जो पश्चिमी देशों ने उनके खिलाफ आर्थिक जंग शुरू की है। उन्होंने कहा कि दोनों राष्ट्रों को कमजोर करने वाले देशों को चुनौती देने के लिए आम प्रयासों में तीव्रता लानी होगी।
अमेरिका ने ईरान पर सभी आर्थिक प्रतिबन्ध थोप दिए हैं, जबकि अमेरिका और यूरोपीय संघ के कुछ देशों ने डमस्कस और सीरिया के कारोबारियों पर प्रतिबन्ध लगा रखा है। सोमवार को 11 समझौतों और एमओयू पर दस्तखत किये गए हैं, इसमें अर्थव्यवस्था, संस्कृति, शिक्षा, इंफ्रास्ट्रक्चर, निवेश और हाउसिंग शामिल है।
इन समझौते पर ईरान के पहले उपराष्ट्रपति इशक जहाँगीरी की सीरिया की राजधानी की यात्रा के दौरान हस्ताक्षर किये गए थे। ईरान और सीरिया ने अगस्त में सैन्य सहयोग समझौते पर हस्ताक्षर किये थे। तेहरान ने डमस्कस को तेल डिलीवरी और अन्य विकादों के दौरान आर्थिक तौर पर सहायता की थी।
रूस और ईरान की मदद से सीरिया ने साल 2015 से जिहादियों और विद्रोहियों के खिलाफ सफलता हासिल की है और अब सरकार का दो-तिहाई इलाके पर नियंत्रण है। इस गृह युद्ध में 360000 लोगों की मृत्यु हुआ है और लाखों लोगों को विस्थापित होना पड़ा था। सरकार विरोधी अभियान को निर्ममता से कुचलने के बाद साल 2011 में यह विद्रोह शुरू हुआ था। संयुक्त राष्ट्र के मुताबिक सीरिया के युद्ध में 400 अरब डॉलर की तबाही हुई है। इस युद्ध से सीरिया की अर्थव्यवस्था और ढांचागत इमारतों पर भी प्रभाव पड़ा है।