कांगो के लोकतान्त्रिक गणराज्य में बीते अगस्त से इबोला के वायरस से 2000 से अधिक लोगो की मौत हुई है। जबकि अफ्रीकी राष्ट्र में 3000 से अधिक इबोला के मामलो को दर्ज किया गया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने जारी बयान में कहा कि “लोकतान्त्रिक गणराज्य कांगो में 3000 मामलो को दर्ज किया गया है।”
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इबोला को रोकने के लिए पूरी ताकत से सभी साझेदारो को प्रतिक्रिया और जमीन पर मौजूदगी में वृद्धि करने की मांग की है। साथ ही दुनिया में सबसे जटिल मानवीय संकट और बड़े में संबोधित किया है। अधिकतर मामलो को उत्तरी किवू प्रान्त में दर्ज किया गया है।
डब्ल्यूएचओ ने कहा कि “बीते 10 हफ्तों में इस वायरस से औसतन प्रति हफ्ते 80 लोग प्रभावित होते हैं। जुलाई में डब्ल्यूएचओ ने कहा कि लोकतान्त्रिक गणराज्य में इबोला का प्रकोप फैला था और जन स्वास्थ्य इमरजेंसी की अंतरराष्ट्रीय चिंता को बताया था।”
इबोला का वायरस जंगली जानवरों से मानवों में फैलता है और इसकी प्रजनन क्षमता 50 फीसदी थी। इस वायरस का नाम देश की इबोला नदी के नाम पर रखा गया था। इसकी खोज बेल्जियम के माइक्रोबायोलॉजिस्ट पीटर पीओट और उसकी टीम ने साल 1976 में की थी।
साल 2013 से 2016 तक पश्चिम अफ्रीका में इबोला का प्रकोप फैला था और इसके कारण 11000 से अधिक लोगो की मौत हो गयी थी।