पाकिस्तान में ईशनिंदा के आरोपों से बरी हुई आसिया बीबी का प्रदर्शनकारियों ने जीना मुहाल कर दिया है। मीडिया ख़बरों के मुताबिक आसिया बीबी को पाकिस्तान से बाहर भेजा जा चुका है, लेकिन सरकार का कहना है कि वह मुल्क में ही है। जान के खतरे के कारण पाकिस्तान छोड़कर नीदरलैंड गए आसिया बीबी ने वकील ने अपने मुवक्किल और उसके परिवार के आश्रय के लिए नीदरलैंड सरकार से गुहार लगायी थी।
आसिया बीबी के वकील सैफ उल मलूक ने डच सरकार से बातचीत कर ली है लेकिन आश्रय के लिए एक अधिकारिक अर्जी देना बाकी है। नौ साल तक लम्बी जंग लड़ने वाली आसिया बीबी के वकील ने कहा कि अगले कुछ दिनों में विभाग में एक लिखित अर्जी दायर करेंगे।
डच विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि पीड़ित व्यक्ति ही आश्रय की याचिका दायर कर सकता है और किसी तीसरे व्यक्ति को अर्जी देने की अनुमति नहीं है। पिछले सप्ताह डच संसद में बहुदलों ने सरकार से आसिया बीबी और उसके परिवार को अस्थायी तौर पर आश्रय देने का अनुरोध किया था।
सैफ उल मलूक ने कहा कि आसिया बीबी, उनके पति और बच्चे अभी सेना और पुलिस के संरक्षण में हैं। पाकिस्तान में इस्लामिक समूह शीर्ष अदालत के फैसले को नज़रंदाज़ कर, आसिया बीबी को सरेआम मौत की सज़ा देने की मांग कर रहा है। पिछले सप्ताह आसिया बीबी के वकील को मजबूरन पाकिस्तान छोड़ने पर मजबूर किया गया था लेकिन उन्होंने स्थायी आश्रय के लिए अर्जी नहीं दी है।
अआसिया बीबी की ईशनिंदा मामले बरी करने के बाद पाकिस्तान के इस्लामिक समूह सडको पर प्रदर्शन करने उतर आये थे। प्रदर्शन के न थमने के कारण सरकार ने इस्लामिक समूह के साथ समझौता किया और आसिया बीबी के देश छोड़ने पर पाबंदी लगा दी थी। हाल ही में आसिया बीबी के पति ने ब्रिटेन, अमेरिका और कनाडा की सरकार से मदद की गुहार लगाई थी।