रेटिंग एजेंसी आईसीआरए ने वित्त वर्ष 2020 के दूसरी तिमाही में भारत की वृद्धि दर घटकर 4.7 फीसदी रहने का अनुमान व्यक्त किया है। ऐसा औद्योगिक उत्पादन के कमजोर होने की वजह से होगा। रेटिंग एजेंसी ने भारत की जीडीपी की वृद्धि दर में आगे और गिरावट का अनुमान लगाया है और ग्रास वैल्यू एडेड (जीवीए) वित्त वर्ष 2020 की दूसरी तिमाही में 4.7 फीसदी से 4.5 फीसदी रहने की संभावना है।
हालांकि, कृषि व सेवा जैसे क्षेत्र वित्त वर्ष 2020 की पहली तिमाही में दर्ज वृद्धि दर को बनाए रखने में सक्षम हो सकते हैं।
आईसीआरए की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा, “घरेलू मांग, निवेश गतिविधि में कमी के कारण वित्त वर्ष 2020 की पहली तिमाही के मार्जिनल 0.6 फीसदी से मैन्युफैक्चरिंग वृद्धि के सुस्त रहने की संभावना है।”