राजस्थान के मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता अशोक गहलोत नें कल पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी पर मोदी द्वारा दिए बयान की कड़ी आलोचना की और कहा कि प्रधानमंत्री हताश हैं और उनके दिन खत्म हो गए हैं।
अशोक गहलोत नें प्रेस को संबोधित करते हुए कहा, “कांग्रेस अध्यक्ष श्री राहुल गांधी द्वारा रफाल सौदे में हुए भ्रष्टाचार पर मोदी जी को कटघरे में खड़ा कर दिया है, जिससे वे तिलमिलाकर इस घोटाले से ध्यान हटाने के लिये बोफोर्स मामले को उठाकर दिवंगत प्रधानमंत्री भारत रत्न श्री राजीव गांधी का अपमान कर रहे हैं। जबकि माननीय उच्चतम् न्यायालय द्वारा इस मामले में श्री राजीव गांधी को सभी आरोपों से पहले ही बरी करार दिया जा चुका है। अब मोदी जी द्वारा बोफोर्स मामले को लेकर राजीव जी पर आरोप लगाना उनकी ओछी मानसिकता, नफरत और घृणा को प्रदर्शित करती है, जिसे देश की जनता किसी भी रूप में स्वीकार नहीं करेगी।”
जनता से अपील करते हुए अशोक गहलोत ने कहा, “मतदान के समय मोदीजी को आइना दिखायें और सच्चाई का साथ देकर कांग्रेस के पक्ष में मतदान करें। यह आम चुनाव कोई साधारण चुनाव नहीं है बल्कि लोकतंत्र, लोकतांत्रिक संस्थाओं और स्वतंत्र जॉंच एजेन्सियों के साथ आमजन की गरिमा को बचाने का चुनाव है। एक बार मोदी जी को मौका देकर देख लिया, अब मोदी जी की विदाई तय है।
कांग्रेस तब तक रफाल सौदे का मुद्दा उठाती रहेगी, जब तक मोदी जी जवाब नहीं देते कि 526 करोड़ का लड़ाकू विमान 1660 करोड़ में क्यों खरीदा गया? एयरफोर्स को 126 लड़ाकू विमानों की जरूरत थी, केवल 36 विमान ही क्यों खरीदे गये? प्रधानमंत्री कार्यालय द्वारा रक्षा मंत्रालय एवं रक्षा खरीद समिति की अनदेखी कर समानान्तरण प्रक्रिया को क्यों अपनाया गया?”
उन्होनें आगे कहा, “पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी ने कारगिल युद्ध के समय बोफोर्स तोपों की क्षमता की सराहना करते हुए कहा था कि पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब देने में इन तोपों का असरदार उपयोग रहा। भारतीय सेना के जवानों ने ‘राजीव गांधी अमर रहे‘ के नारे के साथ बोफोर्स तोप के गोले दागे थे। यही नहीं उस समय पूरे देश में सेना के शौर्य, पराक्रम और वीरता के साथ ‘राजीव गांधी अमर रहे‘ के नारे लगाये गये थे। बोफोर्स तोपों की खरीद के मामले में 1986 में झूठा मुद्दा बनाकर झूठे आरोप लगाये गये देश की छवि धूमिल हुई, जिससे देश की सुरक्षा को लेकर भारी नुकसान झेलना पड़ रहा है, क्योंकि आज भी विभिन्न केन्द्र सरकारों को हथियार खरीदने में भारी मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है।”
राजीव गांधी की उपलब्धियां बताते हुए गहलोत ने कहा, “देश और दुनिया जानती है कि राजीव गांधी मंत्रिमण्डल देश का पहला मंत्रिमण्डल था, जिसने रक्षा सौदे में बिचौलिये की भूमिका समाप्त करने और कमीशन को रोकने के लिये यह निर्णय लिया था कि किसी भी देश द्वारा भारत के साथ किये जाने वाले रक्षा सौदे में किसी भी बिचौलिये की भूमिका नहीं रहेगी। यदि भारत सरकार को पता चलेगा कि किसी रक्षा सौदे में बिचौलिये की भूमिका थी और उसे कमीशन दिया तो भारत के उस देश के साथ सम्बन्ध भी बिगड़ जायेंगे।”
अशोक गहलोत ने आगे कहा, “मुख्यमंत्री न तीन दशक से कांग्रेस विरोधी पार्टियां बोफोर्स के नाम पर राजनीति करती रही, लेकिन मोदी जी के सरकार में आने के बाद भी वे इस मामले वे कुछ भी निष्कर्ष नहीं निकाल पाये और ना ही किसी को दोषी ठहरा पाये।
मोदी जी झूठ बोलने में माहिर हैं। असल मुद्दों पर कोई बात नहीं करते। बेबुनियादी और बेतुकी बातें करके कांग्रेस के महान नेताओं को बदनाम करना चाहते हैं। राजीव जी ने देश की एकता और अखण्डता के लिए अपनी शहादत दी। आज वे इस दुनिया में नहीं हैं, उनके लिये इस प्रकार की बातें करना क्या प्रधानमंत्री पद पर रहते हुए मोदी जी को शोभा देती है? वे लोकतांत्रिक मर्यादाओं एवं प्रधानमंत्री पद की गरिमा को खंडित कर रहे हैं।
मोदी जी पिछले एक सप्ताह से राहुल गांधी जी और गांधी परिवार पर जिस तरीके से व्यक्तिगत आरोप लगा रहे हैं, जबकि इस परिवार का कोई सदस्य पिछले 30 वर्ष से प्रधानमंत्री या मंत्री पद पर नहीं रहा है। वो उनकी बौखलाहट के सिवाय कुछ नहीं है। उन्हें साफ दिखाई दे रहा है कि वे इस चुनाव वे हार रहे हैं और यह तय हो गया है कि देश के अगले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी नहीं होंगे।”