आर्ट ऑफ लिविंग के संस्थापक श्री श्री रविशंकर ने शुक्रवार को ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड और सुन्नी वक्फ बोर्ड के सदस्यों से अयोध्या विवाद को लेकर मध्यस्थता करने की कोशिश की। अयोध्या में बाबरी मस्जिद-राम जन्मभूमि विवाद पर रविशंकर ने मुस्लिम नेताओं के साथ वार्ता की। बैठक में मुस्लिम नेताओं ने अदालत के फैसले के अलावा बाहर होने वाले समझौते का समर्थन किया।
आर्ट ऑफ लिविंग ने अपने बयान में कहा है कि मुस्लिम प्रतिनिधियों ने मस्जिद को दूसरी जगह स्थानांतरित करने के प्रस्ताव का समर्थन किया है। बैठक में करीब 16 संगठनों के नेताओं व प्रतिनिधियों ने भाग लिया। अब एक बड़ी बैठक जल्द ही अयोध्या में आयोजित की जाएगी। इससे पहले भी रविशंकर अयोध्या मामले में मध्यस्थता का प्रयास कर चुके है।
गौरतलब है कि कोर्ट ने भी कहा था कि इस केस को बाहर आपसी समझौते व शांति से सुलझाने का प्रयास किया जाना चाहिए। मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के कार्यकारी सदस्य मौलाना सैयद सलमान हुसैन नदवी ने भी बैठक में हिस्सा लिया।
इनके अलावा उत्तर प्रदेश सुन्नी वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष जफर अहमद फारूकी, आर्ट ऑफ लिविंग के सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी डॉ. अनिस अंसारी व अन्य विद्वान लोग शामिल हुए।
श्री श्री रविशंकर ने इससे पहले भी दोनों समुदायों के बीच बातचीत प्रक्रिया में शांति के लिए नए प्रयास किए है। इससे दोनों समुदायों के बीच में बहुत अच्छे और सकारात्मक संकेत मिले है। इससे पहले रविशंकर के प्रयासों पर विश्व हिन्दू परिषद ने कडी आपत्ति जताई थी।
इस मुद्दे पर रविशंकर की मध्यस्थता करने से विश्व हिन्दू परिषद ने इंकार कर दिया था। पिछले साल नवंबर में कर्नाटक में आयोजित एक धर्म संसद में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत और वीएचपी ने अयोध्या विवाद पर आध्यात्मिक गुरु रविशंकर के प्रयासों की सराहना नहीं की थी।