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अमेरिका-उत्तर कोरिया

उत्तर कोरिया में अमेरिका के राजदूत स्टीफेन बेगुन और दक्षिण कोरिया के राष्ट्रीय सुरक्षा अधिकारियों ने सोमवार को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प और उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन की दूसरी मुलाकात पर बातचीत की थी। स्टीफेन बेगुन ने इस मुलाकात पर अमेरिका के दृष्टिकोण के बाबत बताया था। अटकलों के अनुसार स्टीफेन बेगुन उत्तर कोरिया के समकक्षियों के साथ भी मुलाकात कर सकते हैं। हालांकि इस बैठक की पूरी जानकारी मुहैया नहीं कि गयी है लेकिन दक्षिण कोरिया के अधिकारी ने इस दूरी मुलाकात के सफल होने की उम्मीद जताई है।

सीएनएन के मुताबिक स्टीफेन बेगुन रविवार को दक्षिण कोरिया गए थे और विदेश मंत्री ला दोहूम से भी मुलाकात करेंगे। डोनाल्ड ट्रम्प और किंम जोंग उन के मध्य बीते वर्ष जून में सिंगापुर में बातचीत हुई थी। इस दौरान उन्होंने परमाणु मुक्त कोरियाई पेनिनसुला का लक्ष्य स्थापित किया था हालांकि यह कैसे संभव होगा इसका जिक्र नहीं किया गया था। इस मुलाकात के बाद दोनों मुल्कों के मध्य बातचीत ठप पड़ी हुई थी और वे एक-दूसरे के विरोध पर उतर आए थे।

दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जे इन की बीते वर्ष उत्तर कोरिया के शासक से तीन मुलकात ही चुकी है। वे दो दफा सीमा पर स्थित गाँव पन्मुनजोम में मिले थे और एक बार उत्तर कोरिया की राजधानी पियोंयांग में मिले थे।

उत्तर कोरिया और दक्षिण कोरिया ने उस मुलाकात के दौरान बॉर्डर के समीप स्थित पंमुन्जोम के गाँव से बंकर्स और हथियारों को हटाने की भी शपथ ली थी। हालांकि दक्षिण कोरिया और अमेरिका परमाणु युक्त उत्तर कोरिया पर अपने विचारों को बदलते रहते हैं। एक तरफ दक्षिण कोरिया अलग-थलग पड़े अपने पडोसी को सँभालने के लिए योजना बना रहा है वहीँ अमेरिका का कहना हैं कि जब तक दक्षिण कोरिया पूर्ण परमाणु निरस्त्रीकरण की प्रतिबद्धता को पूर्ण नहीं करता, तब तक उस पर दबाव बनाकर रखा जाए।

अमेरिका के नेशनल इंटेलिजेंस के निदेशक डान कोअट्स ने कहा कि उत्तर कोरिया अपने पूर्ण परमाणु हथियारों को त्यागने की मंशा नहीं रखता है,जबकि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प बातचीत के बाद इस समझौते पर पंहुचे थे। कांग्रेस में रिपोर्ट पेश करते हुए निदेशक ने कहा कि “उत्तर कोरिया अपने सभी परमाणु हथियार और उत्पादन क्षमताओं का त्याग करने के लिए सहज नहीं है, जबकि वह आंशिक परमाणु निरस्त्रीकरण के कदम उठाकर अमेरिका और अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से रियायत चाहता है।

By कविता

कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

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