Tue. Nov 19th, 2024
    हसन रूहानी

    अमेरिका ने ईरान के समक्ष बगैर शर्त के बातचीत का प्रस्ताव रखा था। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए ईरानी राष्ट्रपति हसन रूहानी ने कहा कि “वो अमेरिका ही था जिसने वार्ता को बीच में तोड़ दिया था और उसे सामान्य राज्य की तरह पेश आना चाहिए।”

    अमेरिका के राज्य सचिव माइक पोम्पिओ ने रविवार को कहा रहा कि “अमेरिका बगैर किसी शर्त के ईरान के साथ उनके परमाणु कार्यक्रम को लेकर वार्ता के लिए तत्पर है लेकिन देश को एक समान्य राष्ट्र की तरह व्यवहार करते हुए देखने की जरुरत है।”

    रूहानी के हवाले से सरकार की आधिकारिक वेबसाइट में लिखा था कि “दुसरे पक्ष ने वार्ता की टेबल को छोड़ दिया और संधि का उल्लंघन किया, उसे सामान्य राज्य की तौर पर पेश आना चाहिए। तब तक हमारे समक्ष विरोध के आलावा कोई विकल्प नहीं है।”

    ईरान ने निरंतर कहा है कि प्रतिबंधों के हटाए न जाने तक बातचीत का सिलसिला आगे नहीं बढ़ेगा। अमेरिका और ईरान के बीच तनाव में काफी वृद्धि हो रही है। अमेरिका ने हाल ही में यूएई के फ़ुजैराह तट पर एक युद्धपोत और बी-52 बमवर्षक की तैनाती की मंज़ूरी दी थी।

    ईरान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अब्बास मौसवी ने कहा कि “बातचीत के लिए ईरान के प्रति अमेरिका के सामान्य व्यवहार और कार्रवाई में परिवर्तन होने की जरुरत है।” शनिवार को ईरान के राष्ट्रपति हसन रूहानी ने सुझाव दिया कि “अगर अमेरिका सम्मान प्रदर्शित करे तो ईरान भी बातचीत के लिए इच्छुक है। इस्लामिक देश भयभीत होकर अमेरिका के साथ बातचीत का आयोजन करेगा।”

    By कविता

    कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *