फिलहाल एक मोर्चे पर ही सही ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट अपने प्रतिद्वंदी अमेज़ॅन के खिलाफ लड़ाई में आगे बढ़ती दिखाई दे रही है।
जुलाई-सितंबर 2017 में ई-कॉमर्स एडवाइजरी फर्म रेडसीयर मैनेजमेंट कंसल्टिंग द्वारा 30 शहरों में 7500 लोगों के साथ किए एक सर्वे में चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है।
सर्वेक्षण के अनुसार भारतीय दुकानदार बतौर ब्रांड अमेज़ॅन की तुलना में फ्लिपकार्ट पर ज्यादा भरोसा करते हैं। दुकानदारों का कहना है कि उपभोक्ताओं के लिए फ्लिपकार्ट एक विश्वसनीय ब्रांड है तथा खरीददारी के दौरान उपभोक्ताओं को वास्तविक कीमतों से अवगत कराता है।
मेट्रो शहरों के अलावा गैर मेट्रो सिटीज में भी अमेज़ॅन की तुलना में फ्लिपकार्ट सबसे भरोसेमंद ब्रांड बनने को तैयार है। एडवाइजरी फर्म रेडसीयर के सीनियर कंसल्टेंट कनिष्क मोहन के मुताबिक, फ्लिपकार्ट छोटे कस्बों और कम आय वाले लोगों की पहली पसंद है, ये लोग सबसे ज्यादा आॅनलाइन खरीददारी फ्लिपकार्ट से ही करते हैं।
गौरतलब है कि एडवाइजरी फर्म रेडसीयर के सर्वेक्षण निष्कर्षों से अमेज़ॅन सहमत नहीं है। अमेज़ॅन इंडिया के प्रवक्ता क्वार्ट्ज ने कहा है कि यह सर्वेक्षण निष्कर्ष पूरी तरह से अप्रासंगिक है, इतने कम लोगों के साथ किए सर्वे से कुछ भी निष्कर्ष नहीं निकाला जा सकता है। जबकि ठीक इसके विपरीत हम भारत में सबसे तेजी से बढ़ता हुआ ई-कॉमर्स बाजार बनते जा रहे हैं।
खरीददारी और मूल्य
सर्वेक्षण में यह बात सामने आई कि उपभोक्ता खरीददारी के लिए अमेजन से ज्यादा फ्लिपकार्ट पर भरोसा करते हैं। कंज्यूमर्स को फ्लिपकार्ट वेबसाइट से खरीददारी करने में आसानी होती है। प्रोडक्टस सर्च लेकर आॅर्डर करने तथा बेहतर डिलिवरी मामले में फ्लिपकार्ट उपभोक्ताओं की पहली पसंद है।
सर्वेक्षण में इस बात का भी उल्लेख किया गया है कि 2.5 लाख रुपए सलाना आय वाले लोग फ्लिपकार्ट वेबसाइट से सबसे ज्यादा खरीददारी करते हैं। वहीं ई-कॉमर्स वेबसाइट पर केवल 2.5 लाख और 10 लाख रूपए की सलाना आय वाले लोग अमेज़ॅन पर खरीदारी करना पसंद करते हैं।
अनुमान है कि 2026 तक भारतीय ई-कॉमर्स बाजार 1200 फीसदी इजाफे के साथ 200 अरब डॉलर (13,30,550 करोड़ रुपए) तक पहुंच जाएगा। ऐसे में फ्लिपकार्ट और अमेज़ॅन के बीच छिड़ी यह जंग इतनी जल्द खत्म नहीं होने वाली है।