अफगानिस्तान में संघर्ष से सम्बंधित हिंसा में बीते 12 महीनो में करीब 3300 नागरिको की हत्या हुई है और 14600 लोग जख्मी हुए हैं। मंत्रालय ने यह आंकड़े 16 सितम्बर 2018 से 10 सितम्बर 2018 तक के जारी किये हैं। टोलो न्यूज़ की रिपोर्ट के मुताबिक, डिपार्टमेंट ऑफ़ द कमांड एंड कंट्रोल सेंटर के प्रमुख मीर लैस मुस्तफा ने कहा कि “हमारा सिस्टम सभी 34 प्रान्तों में सक्रीय है और हम आंकड़े जुटा रहे हैं और जैसे ही संख्या का निरिक्षण हो जायेगा हम सिस्टम में जोड़ देंगे।”
हाल ही में जारी रिपोर्ट कि भगलान, कुंदुज, नंगरहार, हेलमंड और कुनार उन प्रान्तों में शामिल है जहां अधिकतम नागरिक हताहत हुई है और बमयन, डैकोंदी, पक्तिया और बाल्ख में सबसे कम नागरिक हताहत हुई है। हालाँकि रिपोर्ट में किसी सैन्य समूह कोप जिम्मेदार नहीं ठहराया गया है।
रिपोर्ट के मुताबिक, फियादीन हमले में 460 लोगो की मौत हुई है और 1200 लोग बुरी तरह जख्मी हुए हैं। देश में अफगान और अन्य विदेशी सेनाओं के हवाई हमलो और अभियानों से नागरिक हताहत ने चिंताओं को उजागर किया है।
अफगान इंडिपेंडेंट ह्यूमन राईट कमीशन के कमिश्नर अब्दुल शकुर मशकुर ने कहा कि “दुर्भाग्यवश, हम केन्द्रीय वारदाक प्रान्त और नंगरहार प्रान्त के खोगयानी जिले में सुरक्षा सेना के अभियान से नागरिक हताहत के गवाह है।” रक्षा मंत्रालय और आंतरिक मंत्रालय ने कहा कि “देश में सैन्य अभियानों के दौरान हम नागरिक हताहत को रोकने की कोशिश कर रहे हैं।”
रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता रौहुल्लाह अह्मद्जई ने कहा कि “नागरिको की जिंदगियो की रक्षा के लिए सुरक्षा बल भरसक प्रयास कर रहा है ताकि उन्हें नुकसान न पंहुचे।” आंतरिक मंत्रालय के प्रवक्ता नुसरत रहीमी ने कहा कि “मंत्रालय इन वारदातों की जांच करेगा और इसे नजरंदाज़ करने वालो को सकहत सजा भुगतनी होगी।”
हालिया रिपोर्ट में संयुक्त राष्ट्र ने अफगानी जंग में नागरिक हताहत पर चिंता व्यक्त की है और इस जंग में शामिल सबही पक्षों से नागरिको को नुकसान न पंहुचाने के लिए सटीक कदम उठाने की मांग की है।”