वरिष्ठ राज्यसभा सांसद और कांग्रेस महासचिव (संगठन) केसी वेणुगोपाल ने शुक्रवार को ‘अग्निपथ’ सैन्य भर्ती योजना पर चर्चा के लिए रक्षा पर संसदीय स्थायी समिति की तत्काल बैठक की मांग की है। वेणुगोपाल रक्षा संबंधी संसदीय स्थायी समिति के सदस्य हैं। देश के अलग-अलग हिस्सों से इसके खिलाफ हिंसक विरोध प्रदर्शन की झलक आ रही है।
स्थायी समिति के अध्यक्ष जुआल ओराम को लिखे पत्र में, कांग्रेस सांसद ने यह भी आग्रह किया कि कार्यक्रम पर अपनी राय लेने के लिए प्रमुख हितधारकों और रक्षा विशेषज्ञों को आमंत्रित किया जाए। ‘अग्निपथ’ सैन्य भर्ती योजना की घोषणा बुधवार को की गई थी।
वेणुगोपाल ने कहा- ‘केंद्र सरकार द्वारा हाल ही में घोषित ‘अग्निपथ’ भर्ती योजना को लेकर पूरे देश में हिंसक विरोध जारी है। इस योजना के संबंध में विशेष रूप से अस्थायी प्रकृति, पेंशन और स्वास्थ्य देखभाल की कमी के कारण युवाओं में व्यापक गुस्सा है।’
उन्होंने कहा कि इस योजना में कई जोखिम हैं, जिसमें सशस्त्र बलों की ‘लंबे समय से चली आ रही परंपराओं को तोड़ना’ शामिल है और इस बात की भी ‘व्यापक आशंका’ है कि इस योजना के तहत भर्ती किए गए सैनिकों को छह महीने में आवश्यक प्रशिक्षण की कमी हो सकती है।
वेणुगोपाल ने कहा- ‘सभी स्पष्ट कारणों से, यह स्पष्ट है कि योजना खराब तरीके से सोची गई है और हितधारकों के साथ किसी भी व्यापक परामर्श के बिना जल्दबाजी में तैयार की गई है। इस संबंध में, मैं आपसे चर्चा करने के लिए रक्षा पर स्थायी समिति की एक तत्काल बैठक बुलाने का आग्रह करता हूं और अग्निपथ योजना पर विस्तार से विचार-विमर्श करें।’
वहीं केंद्र सरकार ने अधिकतम 21 वर्ष से बढ़ाकर 23 वर्ष कर दिया है ताकि कोरोना काल में बहाली नही होने के कारण जिन्हें मौका नहीं मिला था, उन्हें मौका मिल पाए।
रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव ने रेल को क्षति ना पहुंचाने का आग्रह किया है। उन्होंने कहा- ‘रेलवे आपकी संपत्ति है, रेलवे राष्ट्र की संपत्ति है, इसको किसी भी तरह का नुकसान ना पहुंचाये। आपकी बात सरकार संवेदनशीलता के साथ सुन रही है। किसी भी मुद्दे के discussion करना उचित रहता है, रेलवे को नुकसान न पहुंचाये, ऐसा मेरा निवेदन है।’