पूर्व सीबीआई ऑफिसर और सोहराबुद्दीन एन्काउंटर केस के मुख्य जांचकर्ता अमिताभ ठाकुर ने कहा कि 2005 के सोहराबुद्दीन इनकाउंटर केस में अमित शाह को राजनैतिक और आर्थिक रूप से मदद पहुँचाया गया। ठाकुर ने ये बाते सीबीआई की विशेष अदालत के सामने कही।
ठाकुर ने कहा कि अमित शाह के अलावा पूर्व एटीएस उप निरीक्षक डी. जी. बंजारा, पूर्व एसपी (उदयपुर) दिनेश एम एन, पूर्व एसपी (अहमदाबाद) राजकुमार पांडियन और पूर्व उप पुलिस आयुक्त (अहमदाबाद) अभय चूडास्मा को फायदा हुआ।
उन्होंने कहा कि अमित शाह को अमहदाबाद के बिल्डर पटेल बंधुओं से 70 लाख रुपये प्राप्त हुए। उन्हें चेतावनी दी गई थी कि यदि उन्होंने पैसे का भुगतान नहीं किया है, तो गंभीर परिणाम होंगे।
ठाकुर के अनुसार वंजारा को भी पटेल बंधुओं ने 60 लाख रुपये दिए। ठाकुर ने ये भी कहा कि जांच का सामना कर रहे किसी भी पुलिस अधिकारी को एनकाउंटर से कोई राजनीतिक या आर्थिक फायदा नहीं हुआ। ठाकुर के मुताबिक़ मौजूदा समय के 20 आरोपी पांडियन, दिनेश, वंजारा और चूड़ास्मा के आदेश पर काम कर रहे थे।
डी. जी. बंजारा, दिनेश एम एन, राजकुमार पांडियन और अभय चूडास्मा को सोहराबुद्दीन एन्काउंटर केस से बरी कर दिया गया था। ठाकुर ने कहा कि चार्जशीट फाइल करने के लिए मुख्य आरोपी वंजारा के खिलाफ कोई सबूत नहीं था।
ये पूछे जाने पर कि क्या इस एनकाउंटर का कोई गवाह है? इस पर उन्होंने कहा कि इस एन्काउंटर का कोई गवाह नहीं है। ठाकुर ने सोहाबुद्दीन की हत्या अहमदाबाद के दिशा फार्म में होने की बात से भी इंकार किया।