राजस्थान के हनुमानगढ़ में चुनावी रैली के दौरान करतारपुर मसले पर प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी कांग्रेस पर जमकर बरसे थे। पीएम मोदी ने कहा कि साल 1947 में विभाजन के दौरान कांग्रेस को सत्ता पर काबिज होने इतनी जल्दबाज़ी थी कि उनके जहन में सिख श्रद्धालुओं की भावनाओं का ख्याल तक नहीं आया था। उन्होंने कहा कि नानक साहिब गुरूद्वारे को पाकिस्तान को सौंपकर कांग्रेस ने एक अक्षम्य गलती की थी।
हनुमानगढ़ रैली के दौरान पीएम मोदी ने कहा कि कांग्रेस के 70 सालों के कार्यकाल में जो गलतियाँ की गयी, शायद उन्हें ठीक करना उनकी किस्मत में लिखा था। नरेन्द्र मोदी ने कहा कि कांग्रेस की गलतियों को सुधारना मेरी किस्मत में था, इसी कारण करतारपुर का पवित्र काज मेरी झोली में आया है। उन्होंने कहा कि आखिर क्यों विभाजन के वक्त करतारपुर को पाकिस्तान के सुपुर्द कर दिया गया था।
उन्होंने कहा कि करतारपुर गुरुद्वारा भारत से 3 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है, अगर कांग्रेस ने ध्यान दिया होता तो आज करतारपुर भारत का भाग होता। उन्होंने कहा कि 70 सालों के अपने राज में कांग्रेस ने क्यों करतारपुर गलियारे के निर्माण के बाबत नहीं सोचा था।
नरेन्द्र मोदी ने कहा कि करतारपुर गुरुद्वारा आज पाकिस्तान में है क्योंकि कांग्रेस के नेताओं ने कभी सिख समुदाय के लिए गुरुद्वारे की महत्वता को समझा ही नहीं था। उन्होंने कहा कि जनता के भाजपा सरकार को सत्ता में लाने के कारण ही आज करतारपुर गलियारे का निर्माण संभव हो सका है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि “करतारपुर” कॉरिडोर, भारत और पाकिस्तान की आवाम के मध्य एक पुल की तरह कार्य करेगा। पीएम मोदी ने कहा-“किसने सोचा था कि बर्लिन की दीवार गिर सकती है। शायद गुरु नानक देव जी के आशीर्वाद से, ‘करतारपुर’ का कॉरिडोर सिर्फ कॉरिडोर नहीं, जन जन को जोड़ने का बहुत बड़ा कारण बन सकता है।”
23 नवम्बर को आयोजित गुरुपर्व में पीएम नरेन्द्र मोदी ने शिरकत करते हुए कहा था कि करतारपुर सीमा दोनों देशों की आवाम को जोड़ने का प्रयास है जो साल 1947 की घटना के बाद नदारद था। उन्होंने कहा कि पूर्वी और पश्चिमी जर्मनी के लोगों को बांटने वाली दीवार बर्लिन वॉल को गिराया जा सकता है तो करतारपुर साहिब भारत और पाकिस्तान की जनता के मध्य मतभेदों को दूर करने के लिए प्रचार कर सकता है।