पिछले कुछ समय तक, भारत के पास विकेटकीपर के तौर पर ज्यादा विकल्प मौजूद नही थे, खासकर की खेल के लंबे प्रारूप में। लेकिन अब, भारत के चयनकर्ताओं को इंग्लैंड और वेल्स में होने वाले विश्वकप के लिए कोई दो विकेटकीपर चुनने हो जो उनकी लिए सबसे बड़ी सरदर्दी बन हुआ है। जबकि एमएस धोनी पहले से विश्वकप के लिए नंबर-1 दावेदार है, अब विश्वकप की टीम का हिस्सा बनने के लिए अनुभवी दिनेश कार्तिक और युवा ऋषभ पंत के बीच संघर्ष जारी है।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ आगामी टी-20 और एकदिवसीय सीरीज चयनकर्ताओ के लिए आखिरी मौका होगा की इस बहस को खत्म किया जाए। टी-20 और एकदिवसीय सीरीज के लिए टीम की घोषणा शुक्रवार को हुई है, जहां दिनेश कार्तिक को टीम मेम जगह नही दी गई और पंत को विश्वकप से पहले और एकदिवसीय मैच खेलने का मौका दिया जाएगा। विश्वकप 2019 के लिए फाइनल टीम चुनने का समय 23 अप्रैल तक है। जिसके बाद सभी टीमो को अपने 15 खिलाड़ियो की लिस्ट आईसीसी की देनी होगा।
मुख्य चयनकर्ता एमएसके प्रसाद ने एक साक्षात्कार में टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया कि 30 मई से शुरू होने वाले शोपीस टूर्नामेंट के लिए अंतिम टीम को कम या ज्यादा का अंतिम रूप दे दिया गया है, जिसमें अंतिम स्पर्श की आवश्यकता है। उनमें से एक निश्चित रूप से कार्तिक या पंत हो सकते है।
कार्तिक, जिन्होने अपना अंतरराष्ट्रीय डेब्यू 2004 में किया था, वह केवल अब तक एक विश्वकप खेल पाए है। जो उन्होने 2007 में खेला था। वही पंत ने अपना अंतरराष्ट्रीय डेब्यू 2017 में किया है और इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट मैच खेलने के बाद वह विकेटकीपरो के रूप में पसंदीदा में आ गए।
दोनो ही खिलाड़ियो को अपने आक्रमक शार्ट्स के लिए जाना जाता है और लेकिन ऑस्ट्रेलिया श्रृंखला खत्म होने के बाद यह देखना रोमांचक होगा की विश्वकप के लिए इन दोनो विकेटकीपर बल्लेबाजो में से किसे टीम में चुना जाता है। पंत को अब तक एकदिवसीय प्रारूप में ज्यादा मैच खेलने का मौका नही मिला है इसलिए विश्वकप से पहले उन्हें कुछ और मैच खेलने का मौका दिया जा रहा है।