पीवी सिंधु शुक्रवार को क्वार्टर फाइनल में स्पेन की कैरोलिना मारिन से 11-21, 12-21 से हारने के बाद इंडोनेशिया मास्टर्स से बाहर हो गईं। यह प्रतियोगिता बमुश्किल 37 मिनट तक चली और मारिन ने पीवी सिंधु को कुछ अटैकिंग प्ले के साथ पूरी तरह से मैच में पीछे रखा।
.@Pvsindhu1 bows out of the #DaihatsuIndonesiaMasters after going down to 🇪🇸 World No 3 @CarolinaMarin 12-21;11-21 in the quarter-finals. Tough luck girl!#badminton #IndiaontheRise pic.twitter.com/iCQR2v3RjR
— BAI Media (@BAI_Media) January 25, 2019
इसस पहे भारत के किदांबी श्रीकांत शुक्रवार को क्वार्टरफाइनल मुकाबले में जोनाथन क्रिस्टी से 18-21, 19-21 से हारे थे। यह मैच 48 मिनट तक चला था। जहां 12वी रैंक वाले इंडोनेशिया के खिलाड़ी जोनाथन ने भारत की 8वीं रैंक के किदांबी श्रीकांत को मात दी थी।
इससे पहले, साइना नेहवाल ने थाईलैंड की पोर्नपावी चोचुचोंग पर सीधे सेटों की जीत के बाद सेमीफाइनल में प्रवेश किया। साइना नेहवाल ने क्वार्टर फाइनल सिंगल्स मैच 21-7 21-18 से जीता।
इससे पहले साइना पिछले हफ्ते खेले गए मलेशिया मास्टर्स में भी सेमीफाइनल तक पहुंची थी। जहां उन्हें स्पेन की कैरोलिना मारिन ने ही सेमीफाइनल मैच में मात दी थी।
साइना ने मैच में अच्छी शुरूआती की थी और पहले गेम में मध्यंतर से पहले 11-4 की लीड बना ली थी। पूरे मैच में विपक्षी खिलाड़ी ज्यादा अंक नही जुटा पाई और पहली गेम में 21-7 से हार का सामना करना पड़ा।
वही शुक्रवार को खेले गए पुरुष एकल मैच की बात करे, तो जोनाथन क्रिस्टी और भारतीय खिलाड़ी श्रीकांत के खिलाफ दोनो गेम रोमांचक देखने को मिले, लेकिन भारत के खिलाड़ी को हार का सामना करना पड़ा। स्थानिय खिलाड़ी जोनाथन ने इस मैच में 21-18, 21-19 से श्रीकांत को मात दी।
सिंधु और कैरोलिना के बीच मैच की महिला एकल मैच की बात करे, तो इस बार एकतरफा मुकाबला देखने को मिला। जहां स्पेन की कैरोलिना ने आसानी से अपने कब्जे में जीत की। सिंधु को इस मैच में मारिन के खिलाफ बहुत संघर्ष करना पड़ा। और सीधे दो गेम 11-21, 12-21 से हार का सामना करना पड़ा।
इससे पहले साल 2018 में सिंधु को विश्व चैंपियनशिप, एशियाई खेल, राष्ट्रमंडल खेल, थाईलैंड ओपन और इंडियन ओपन के फाइनल मुकाबले में हार का सामना करना पड़ा था। जिससे उन्हें अपने प्रशंसको से कई आलोचनाए सुनने को मिली थी। लेकिन साल के अंत में उन्होनें जापान की नोजोमी ओकुहारा को हरा कर वर्ल्ड-टूर का खिताब अपने नाम किया था और वह ऐसा करने वाली पहली भारतीय खिलाड़ी बनी थी।