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    त्रिपोली में संघर्ष

    लीबिया की राजधानी त्रिपोली में संघर्ष की शुरुआत के बाद 205 लोगो की मृत्यु हो चुकी है और 913 अभी भी घायल है।हाल ही में खलीफा हफ्तार ने अपनी सेना को त्रिपोली पर कूच करने के आदेश दिए थे और इसका प्रतिकार यूएन समर्थित सरकार की वफादार सेना ने किया था।

    लीबिया में विश्व स्वास्थ्य संघठन ने अपने आधिकारिक ट्वीटर हैंडल पर लिखा कि “त्रिपोली में सैन्य संघर्ष से मृतकों की संख्या बढ़कर 205 हो गयी है जबकि 913 लोग अभी भी जख्मी है। लीबिया में तैनात फ्रंटलाइन अस्पताल दर्ज़नो सर्जरी करने में सहायता कर रहे हैं।

    तानाशाह मोहम्मद गद्दाफी की मृत्यु के बाद लीबिया दो भागो में विभाजित हो गया था। एलएनए समर्थित संसद का पूर्वी लीबिया का अधिकार है जबकि यूएन द्वारा समर्थित गवर्मेंट ऑफ़ नेशनल एकॉर्ड त्रिपोली से समस्त पश्चिमी भाग में आधिपत्य करती है।

    भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने गुरूवार को त्रिपोली में भारतीय दूतावास के दो हेल्पलाइन नंबर ट्वीट किये हैं।

    ट्वीट में कहा कि “भारतीय नागरिकों की दूतावास हर संभव सहायता करेगा। त्रिपोली में भारतीय नागरिकों को अधिक सावधान रहने की सलाह दी जाती है। दूतावास हर संभव मदद करेगा। दूतावास का हेल्पलाइन नंबर: 00218 924201771 हैं।”

     

     

     

     

     

     

     

     

     

     

     

     

    यह संघर्ष 4 अप्रैल को शुरू हुआ था जब हफ्तार ने त्रिपोली पर कब्जे के लिए सैनिकों को हमला करने का हुक्म दिया था।राजधानी पर यूएन समर्थित सरकार का समर्थन है लेकिन हफ्तार इसे मान्यता नहीं देता है। हाल ही में डब्ल्यूएचओ ने ट्वीट कर कहा कि “इस माह त्रिपोली को कब्जे में लेने के लिए खलीफा हफ्तार द्वारा शुरू किये गए आक्रमक कार्रवाई में 614 अन्य लोग जख्मी हो गए हैं।”

    मानवीय मामलो के यूएन दफ्तर ने कहा कि “संघर्ष के कारब 13500 लोगो से अधिक विस्थापित हुए हैं जबकि 900 निवासी शिविरों में रहने को मज़बूर है।”

    By कविता

    कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

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