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    पाकिस्तान के प्रधानमन्त्री इमरान खान

    संयुक्त अरब अमीरात ने पाकिस्तान को 6.2 अरब डॉलर का सहायता पैकेज देने की प्रक्रिया को अंतिम रूप दे दिया है। पाकिस्तान अभी आर्थिक तंगी के महल से गुजर रहा है। इस पैकेज में 3.2 अरब डॉलर तेल निर्यात में रियायत बरती गयी है और 3 अरब डॉलर नकद राशि जमा की जाएगी।

    यूएई की रविवार को शुरू हो रही पाकिस्तान की यात्रा के दौरान क्राउन प्रिंस शेख मोहम्मद बिन ज़ायेद अल नहयान के खुद इसके ऐलान करने की संभावनाएं हैं। पाकिस्तान की अधिकारिक सूचना के मुताबिक इस पैकेज को अंतिम स्वरुप गुरूवार शाम को दे दिया गया था।

    इस अधिकारिक घोषणा के बाद पाकिस्तान की दोनों देशों से तेल व गैस के आयात में 7.9 अरब डॉलर की बचत हो जाएगी। आंकड़ों के मुताबिक यह सालाना 60 प्रतिशत से अधिक तेल आयात का बिल के बराबर है।

    पाकिस्तान को सऊदी अरब से 3.18 फीसदी ब्याज दर पर 2 अरब डॉलर की राशि पहल ही मिल चुकी है और शेष एक अरब डॉलर की राशि फ़रवरी के पहले सप्ताह में जमा कर दी जाएगी। पाकिस्तान ने अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष से भी 8 अरब डॉलर की आर्थिक मदद की गुहार लगाई है। इसके आलावा पाकिस्तान को अपने नजदीकी दोस्त चीन के भी काफी मदद मिली है लेकिन इमरान खान ने इसका खुलासा नहीं किया है।

    पाकिस्तान के प्रधानमन्त्री ने चीन की यात्रा के बाद कहा कि सहायता की रकम की राशि का खुलासा करने के लिए शी जिनपिंग ने मना किया है। अमरीका के राष्ट्रपति चाहते हैं कि सभी पहलुओं को जांचकर ही आईएमएफ पाकिस्तान को कर्ज मुहैया करें। उन्होंने कहा कि बहुराष्ट्रीय संस्था यह सुनिश्चित करें कि पाकिस्तान इस मदद का इस्तेमाल चीन का कर्ज अदा करने के लिए न करें।

    पाकिस्तान ने चीन,सऊदी अरब, यूएई, मलेशिया जैसे देशों से आर्थिक मदद मांगी थी। इमरान खान ने कहा था कि उन्होंने आईएमएफ को सीपीईसी परियोजना से जुड़े सभी दस्तावेज दे दिए हैं, हालांकि इस पर आईएमएफ की अभी कोई टिप्पणी नहीं आई है।

    By कविता

    कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

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