Fri. Apr 19th, 2024
    भारतीय प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी और मालदीव के राष्ट्रपति इब्राहीम सोलिह

    मालदीव के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति इब्राहम सोलिह अपनी पहली आधिकारिक यात्रा पर 17 दिसम्बर को भारत पर आयेंगे। मालदीव ने नई दिल्ली में नियुक्त अपने राजदूत को वापस बुला लिया है। राजदूत अहमद मोहम्मद को पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल्ला यामीन के कार्यकाल में नियुक्त किया गया था, उन्हें यामीन का काफी नजदीकी माना जाता है। सोमवार को राजदूत ने अपने पद से त्यागपत्र दे दिया। मालदीव में नए राष्ट्रपति इब्राहीम सोलिह की शपथ ग्रहण के बाद यह फैसला लाजिमी था।

    भारत की चार दिवसीय यात्रा पर आये मालदीव के विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद की भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के साथ मुलाकात के बाद इब्राहीम सोलिह के भारत दौरे पर मोहर लगाई गई थी। भारत दौरे पर अब्दुल्ला शाहिद मालदीव के वित्त मंत्री इब्राहीम आमिर, आर्थिक विकास मंत्री फ़य्याज़ इस्माइल, विदेश राज्य मंत्री अहमद खलील और विदेश सचिव गफूर मोहम्मद के साथ आये थे।

    अब्दुल्ला शहीद ने कहा कि भारत के साथ सम्बन्ध पारंपरिक और वक्त से अजमाए हुए है। वह सुनिश्चित है कि भारत सरकार मालदीव की नई सारकार के मूल्यों और संबंधों को संजो कर रखेगी। उन्होंने कहा कि अब्दुल्ला यामीन भारत और चीन को खिलाफ करके खेल रहा था लेकिन हम किसी को कटपुतली बनाकर नहीं खेल सकते है। मालदीव के आर्थिक हालात पर वित्त मंत्री ने कहा कि पिछले पांच सालो से भ्रष्टाचार के कारण अभी देश आर्थिक चुनौतियों से गुजर रहा है। उन्होंने माले में निवेश का स्वागत किया है।

    आर्थिक विकास मंत्री ने कहा कि देश पिछले पांच सालों में हुए गिले शिकवे भुलाना चाहता है और भारतीय कंपनियों के साथ सभी मसलो का समाधान निकालना चाहता है, ताकि भारतीय कंपनिया मालदीव में व्यापार कर सके। उम्मीद हैं दोनों राष्ट्रों के मध्य द्विपक्षीय निवेश संरक्षण समझौता होगा। चीन से मुक्त व्यापार समझौते पर उन्होंने कहा कि मैंने अधिकारियों से इसकी समीक्षा के लिए कहा है। इस पैक्ट की समीक्षा के बाद ही कोई फैसला लिया जा सकेगा।

    चीन की बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव प्रोजेक्ट में मालदीव के शामिल होने के बाबत वित्त मंत्री ने कहा कि मालदीव सिर्फ चीन के साथ ही नहीं बल्कि सभी देशों के साथ व्यापार करना चाहता है। उन्होंने कहा कि हम अकेलेपन से बहार आकर सभी देशों के साथ कार्य करना चाहते हैं।

    भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा कि सुषमा स्वराज ने मालदीव के साथ संबंधों की प्राथमिकता की बात को दोहराया है जो विश्वास, पारदर्शिता, साझा समझ और संवेदनशीलता पर आधारित है। मालदीव ने भी भारत पहले की नीति को दोहराया और कहा कि उनकी सरकार भी भारत सरकार के साथ नजदीकी कार्य करने को तत्पर है।

    By कविता

    कविता ने राजनीति विज्ञान में स्नातक और पत्रकारिता में डिप्लोमा किया है। वर्तमान में कविता द इंडियन वायर के लिए विदेशी मुद्दों से सम्बंधित लेख लिखती हैं।

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