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    न्यूरल नेटवर्क neural network in hindi

    कहा जाता है कि पृथ्वी मनुष्य सबसे अधिक तेज़ और समझदार जीव है। इस कंप्यूटर साइंस ऐरा में आज हम जितना हो सके कंप्यूटर या किसी भी यन्त्र को बेहतर से बेहतर बनाना चाहते हैं यहां तक कि आज हम इस काबिल बन चुके है कि आज हमारा कंप्यूटर खुद-ब-खुद कमांड भी देता है और उसी के अनुकूल कार्य भी स्वयं करता है।

    न्यूरल नेटवर्क भी इंफॉर्मेशन प्रोसेसिंग का एक प्रकार है यह मनुष्य के दिमाग की तरह ही कार्य करता है जिस प्रकार मनुष्य का दिमाग किसी सूचना को प्रोसेस करता है ठीक उसी प्रकार यह नेटवर्क भी कार्य करता है।

    विषय-सूचि

    न्यूरल नेटवर्क की परिभाषा (neural network definition in hindi)

    न्यूरल नेटवर्क न्यूरॉन्स का परस्पर जुड़ाव/अंतः-संबंध है। और वही पर आर्टिफिशल न्यूरल नेटवर्क एक कंप्यूटरीकृत टूल है जो न्यूरल नेटवर्क के ऊपर ही बनाया गया है। सीधे तौर पर कहें तो यह विशिष्ट समस्याओं को हल करने के लिए एकजुट होने में काम कर रहे अंतः स्थापित न्यूरॉन्स की एक बड़ी संख्या से बना है।

    आर्टिफीसियल न्यूरल नेटवर्क को हम न्यूरल नेट्स भी कहते हैं। पैरेलेल डिस्ट्रिब्यूटेड प्रोसेसिंग सिस्टम, कनेक्शनिस्ट सिस्टम भी इसके समानांतर शब्द है।

    न्यूरल नेटवर्क की शुरुआत (beginning of neural network in hindi)

    पहला न्यूरल नेटवर्क 1943 में न्यूरोफिजियोलॉजिस्ट वारेन मैककलोच और लॉजिशियन वाल्टर पिट्स द्वारा उत्पादित किया गया था। लेकिन उस समय उप्लब्ध प्रौद्योगिकी में उन्हें बहुत कुछ करने की अनुमति नही दी थी।

    न्यूरल नेटवर्क के फायदे (advantages of neural network in hindi)

    • न्यूरल नेटवर्क, जटिल या अपरिचित डेटा से अर्थ प्राप्त करने के साथ साथ पैटर्न निकालने और उन चीज़ों का पता लगाने के लिए उपयोग किया जा सकता है जो मनुष्य या अन्य साधारण कंप्यूटर तकनीकों द्वारा नही देखी जा सकती।
    • प्रारंभिक या कहें शुरुवाती तौर पर किसी डेटा के आधार पर कार्य करने या सीखने के लिए हम इसका उपयोग कर सकते हैं।
    • यह सीखने के समय के दौरान प्राप्त जानकारी से अपना संगठन बना सकता है व प्रतिनिधित्व कर सकता है।
    • यह नॉन लीनियर स्टैटिस्टिकल डेटा मॉडलिंग का एक उपकरण है। इस मॉडल द्वारा जटिल डेटा विश्लेषण किया जाता है।

    न्यूरल नेटवर्क कैसे सीखते हैं? (how to learn neural network in hindi)

    न्यूरल नेटवर्क उदाहरण के द्वारा सीखते हैं। उन्हें एक विशिष्ट कार्य करने के लिए प्रोग्राम नहीं किया जा सकता है।

    उदाहरणों को ध्यान से चुना जाना बेहद जरूरी है अन्यथा उपयोगी समय बर्बाद होगा या फिर नेटवर्क गलत तरीके से कार्य करेगा।

    न्यूरल नेटवर्क का उपयोग (uses of neural network in hindi)

    • सोलर एनर्जी के क्षेत्र में प्रयोग किये जाने वाले सोलर स्टीम जेनरेटिंग प्लांट की मॉडलिंग और डिजाइनिंग में इसका उपयोग होता है।
    • न्यूरल नेटवर्क का उपयोग पैटर्न मान्यता प्रणाली, डेटा प्रोसेसिंग, रोबोटिक्स, मॉडलिंग इत्यादि में होता है।
    • यह लचीले और परिस्थितिनुकूल होते हैं या सीधे शब्दों में कहें तो एडॉप्टिव होते हैं।
    • आर्टिफिशल न्यूरल नेटवर्क आंतरिक और बाहरी मानकों को अडॉप्ट कर अपने आस पास से भी ज्ञान प्राप्त करता है और उन जटिल समस्याओं का भी हल करता है जिन्हें प्रतिबंधित करना मुश्किल होता है।
    • लचीलापन: न्यूरल नेटवर्क लचीला और निष्कर्षों के आधार पर स्थितियों को सीखने समानिकृत करने और अनुकूलित करने की क्षमता रखता है।
    • न्यूरल नेटवर्क पूर्ण रूप से अडॉप्टिव लर्निंग पर निर्भर करता है।
    • अज्ञात परिस्थिति में पर्याप्त प्रतिक्रिया उत्पन्न करने की क्षमता व ज्ञान इसमे पहले से ही होता है।

    न्यूरल नेटवर्क का इंजीनियरिंग दृष्टिकोण (engineering point of neural network in hindi)

    अगर हम इंजीनियरिंग दृष्टिकोण से देखे तो न्यूरल नेटवर्क एक उपकरण है जिसमे कई इनपुट और आउटपुट होते हैं। न्यूरॉन के संचालन के दो तरीके होते हैं: प्रशिक्षण मोड या उपयोग मोड।

    प्रशिक्षण मोड में न्यूरॉन को विशेष इनपुट पैटर्न के लिए आगे के लिए प्रशिक्षित किया जा सकता है। उपयोग मोड में, जब इनपुट पर एक सिखाया इनपुट पता चलता है तो इससे संबंधित आउटपुट वर्तमान आउटपुट बन जाता है।

    पारंपरिक और न्यूरल नेटवर्क में अंतर (difference between ordinary and neural network in hindi)

    न्यूरल नेटवर्क पारंपरिक नेटवर्क की तुलना में अधिक सहनशीलता वाला होता है। सारे डेटा के किसी भी नुकसान के बिना नेटवर्क अपने किसी भी घटक में गलती को पुनः उत्पन्न या रिजेनरेट करने में सक्षम है।

    इसके विकास केे पीछे मुख्य उद्देश्य और इरादा केवल यह है कि न्यूरल नटवर्क की गणना बायोलॉजिकल न्यूरॉन के साथ ही की जाती है।

    न्यूरल नेटवर्क कोई चमत्कार नही है लेकिन समझदारी से इस्तेमाल किया जाए तो वह कुछ अद्भुत परिणाम उत्पन्न कर सकते हैं।

    इस लेख से सम्बंधित यदि आपका कोई सवाल या सुझाव है, तो आप उसे नीचे कमेंट में लिख सकते हैं।

    3 thoughts on “न्यूरल नेटवर्क क्या है? पूरी जानकारी”
    1. Solar energy ke chhetr mein neural network ka kis prakaar prayog kiyaa jaata hai? iske functions kya hote hain?

      1. neural network is a part of artificial intelligence…neural used in AI based application to think about the data and process it then gives output ..no human intraction occured in this technology

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